Wednesday, April 24, 2024

ज़िन्दगी कैसे गुजारी

 आज खाली बैठा, तो सोचा खुद से मिला जाये,
बहुत दिन हुवे आज खुद का हाल पुछा  जाये।।।।

जब पुछा मैंने खुद से, ज़िन्दगी कैसे गुजारी ????
मन ने मुस्कुरा कर कहा, जी ही कब थी , जोह वह गुजारी।।।।

अपनों के लिए जिया है, भाग ढूढ़ तूने  खूब की है,
देख आस पास, आज भी तू ाखेला ही खड़ा है।।।।।।

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